दो रोहिंग्या शरणार्थियों की ओर से पेश हुए ऐडवोकेट प्रशांत भूषण ने कहा कि रोहिंग्या मुसलमान दुनिया में सबसे अधिक मुश्किलों का सामना करने वालों में शामिल हैं. भूषण ने कोर्ट से निवेदन किया कि सरकार यह आश्वासन दे कि इस बीत रोहिंग्या मुसलमानों को देश से नहीं निकाला जाएगा. उन्होंने कहा कि अगर रोहिंग्या मुसलमानों को जबरदस्ती पड़ोसी देश म्यांमार भेजा गया, तो यह एक तरह से उन्हें काल के मुंह में डालना जैसा होगा. उनके मुताबिक वापस भेजे जाने वाले रोहिंग्या मुसलमानों को स्थानीय सेना के हाथों उनकी मौत दी जा सकती है.
इस मुद्दे पर सरकार की ओर से जवाब मिलने के बाद सुप्रीम कोर्ट इन दोनों याचिकाओं पर सोमवार को सुनवाई करेगा.हालांकि कोर्ट ने इस मुद्दे पर अंतरिम रोक लगाने के की मांग ठुकरा दी. गौरतलब रहे कि केंद्रीय मंत्री किरण रिजिजू का कहना है कि सरकार रोहिंग्या मुसलमानों को वापस म्यांमार भेजेगी. यह कार्रवाई कानूनी प्रक्रिया के तहत होगी. (कोहराम से)