‘व्यापम’ वाले प्रदेश में बैल की जगह बेटियाँ : CM शिवराज का विकास

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Madhya Pradesh: Financial crisis forces a farmer in Sehore’s Basantpur Pangri to use his two daughters to pull the plough in their fields. District Public Relation Officer (DPRO), Ashish Sharma says “The farmer instructed not to use children for such activities. Whatever help he can be given, admin is looking into it.”
-ANI

मध्य प्रदेश में जहां किसानों की हालत बद से बद्तर है और किसान खुदकुशी के लिए मजबूर हो रहे हैं, वहीं पर एक हैरान करने वाला मामला भी सामने आया है। मध्य प्रदेश के सीहोर जिले में एक आदिवासी किसान के पास हल जोतने के लिए बैल न होने के कारण अपनी दो बेटियों को बैलों की जगह पर इस्तेमाल करना पड़ा। आपको बता दें कि यह घटना मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के विधानसभा इलाके की है।

नसरुल्लागंज जनपद पंचायत के आदिवासी ग्राम बसंतपुर पांगरि में सरदार बारेला नाम के गरीब किसान के पास अपना खेत जोतने के लिये कोई साधन नहीं है। बारिश के इस मौसम में यदि खेत न जोते गई तो परिवार का पेट कैसे पलेगा। ऐसे में सरदार को अपनी दो बेटियों राधा और कुंती को बैलों की जगह इस्तेमाल करना पड़ा।

किसान का कहना है कि सरकार उनकी कोई मदद करती नहीं ऐसे में उनके पास अपना पेट पालने के लिये कोई और चारा नहीं है। डीपीआरओ आशीष शर्मा ने बताया कि किसान को बच्चों से ऐसा काम नहीं करवाने के लिए कहा गया है।उन्हें हरसंभव सरकारी मदद मुहैया कराई जाएगी। प्रशासन इस मामले पर विचार कर रहा है।

गौरतलब है कि मध्यप्रदेश के मंदसौर में किसानों ने पिछले दिनों सरकार के खिलाफ मोर्चा खोला था। किसान अपनी मांगो को लेकर सड़कों पर उतर गए थे। जिसमें पुलिस के लाठीचार्ज के समय 5 किसानों की मौत हो गई थी। जिसके बाद मंदसौर में हालात और ज्यादा बिगड़ गए थे।

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